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November 21, 2024 9:48 am

🪷 अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-10🪷- : Niru Ashra

🪷 अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-10🪷- : Niru Ashra

🪷 अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-10🪷 पांचों भाई बारी बारी से सुधन्वा को बुलाने जा चुके।परन्तु दासी के अंतःपुर शब्द को सुनकर गर्दन नीची हो जाती थी तथा वीर बाणे को अस्तव्यस्त पड़ा देखकर प्रभावती पर क्रोध उफ़न आता था और पिता का कठोर अनुशासन याद करके मन में भय पैदा हो जाता था कि पिता … Read more

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 12-( विरहानल ): Niru Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 12-( विरहानल ): Niru Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 12 गतांक से आगे – प्रेम की आँधी जिसके जीवन में आती है वो सुख की आहुति लेती है । ये अनल है ….विरहानल, विरह की आग , धधकती आग । इसकी लपटें बहुत ऊँची हैं ….इसी धधकती आग में प्रेमी को चलना है ….ना , चलना नही है नृत्य करना … Read more

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 83 !!-उद्धव द्वारा “गोपीप्रेम” का गान…भाग 2 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 83 !!-उद्धव द्वारा “गोपीप्रेम” का गान…भाग 2 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 83 !! उद्धव द्वारा “गोपीप्रेम” का गान…भाग 2 हे महाभागा ! हे राधिके ! हे कृष्ण प्रिये ! हे स्वामिनी ! मैं आपके चरणों में प्रणाम करता हूँ …………….. श्रीराधारानी का ध्यान अभी इधर नही है ……….. सच्चा त्याग तो आपनें किया है …………महात्मा लोग क्या त्याग करेंगें आपके समान ………बड़े बड़े महर्षि … Read more

🪷अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-9🪷 : Niru Ashra

🪷अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-9🪷 : Niru Ashra

🪷 अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-9🪷 युद्ध की भैरवी क्षेत्र में बज उठी।राजकुमार सुबल,सुरथ,सम व सुदर्शन ने पिता महाराज हँसध्वज को शीश झुकाया और कहा,पिताजी ! हम तैयार हैं, कूँच करने की आज्ञा दें।🌻राजा ने कहा,बेटे ! तुम्हारा भाई सुधन्वा नहीं दिख पड़ रहा,क्या अभी तक नहीं आया ❓या फिर कुछ नगरवासियों को इकट्ठा कर रहा … Read more

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 11-(जब श्रीराधारानी मेघ को देखती हैं…): Niru Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 11-(जब श्रीराधारानी मेघ को देखती हैं…): Niru Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 11 ( जब श्रीराधारानी मेघ को देखती हैं…) गतांक से आगे – उफ़ ! ये हमारी किशोरी जी ! कोमल से भी अति कोमल हैं ….सुकुमारता भी जिनको देखकर लजा जाये …ऐसी ये सुकुमारी हैं । किन्तु श्याम सुन्दर जब से गये मथुरा इन्होंने उन्माद का बाना धारण कर लिया है … Read more

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 83 !!-उद्धव द्वारा “गोपीप्रेम” का गान…भाग 1 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 83 !!-उद्धव द्वारा “गोपीप्रेम” का गान…भाग 1 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 83 !! उद्धव द्वारा “गोपीप्रेम” का गान…भाग 1 आहा ! पवित्र हो गए थे श्रीराधा चरणों में वन्दन करनें से उद्धव । प्रेम का साकार रूप ही तो विराजमान था….उस यमुना के पावन तट पर । श्रीराधारानी के चरणों में गिर गए थे….नेत्रों से अश्रु बह रहे थे उद्धव के । भक्ति ? … Read more

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 10-( रोहिणी माता और श्रीराधा का उन्माद ) : Niru Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 10-( रोहिणी माता और श्रीराधा का उन्माद ) : Niru  Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 10 ( रोहिणी माता और श्रीराधा का उन्माद ) गतांक से आगे – कितना रोका यशोदा मैया ने रोहिणी माता को पर वो नही रुकीं । नन्दबाबा का कहना था तुम बाबरी हो गयी हो …क्यों रुके रोहिणी यहाँ ? उसका पति वसुदेव मथुरा में है …उसका पुत्र बलराम मथुरा में … Read more

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 82 !!-हम प्रीत किये पछतानी….भाग 3 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 82 !!-हम प्रीत किये पछतानी….भाग 3 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 82 !! हम प्रीत किये पछतानी….भाग 3 हे भँवर ! मेरे रुदन को वही समझ सकता है ……..जिसनें विरह को जाना है …….वास्तव में मेरे आँसुओं को मेरा श्याम ही समझ सकता है ……पर वो भी तो नही समझ रहा मुझे । इतना ही बोल पाईँ थीं श्रीराधिका जी………….. पर आज विचित्र होगया…….उद्धव … Read more

🪷 अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-7🪷: Niru Ashra

🪷 अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-7🪷: Niru Ashra

🪷 अद्भुत कृष्ण भक्त सुधन्वा,भाग-7🪷 सुधन्वा और प्रभावती में तर्क वितर्क चलते रहे।प्रभावती ने कहा कि मैं आपके श्रीकृष्ण दर्शनार्थी मुखकमल का दर्शन कर रही हूँ, परन्तु नाथ❗मालूम होता है कि आज आपका एकपत्नीव्रत नष्ट हो जाएगा क्योंकि आप जिस पर अनुरक्त होकर उत्साह से जा रहे हैं, वह स्त्री मेरी बराबरी कभी नहीं कर … Read more

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 9-( वंशीवट में ) : Niru Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 9-( वंशीवट में ) : Niru Ashra

श्रीराधिका का प्रेमोन्माद – 9 ( वंशीवट में ) गतांक से आगे – रात में शयन किया बरसाने जा कर श्रीराधारानी ने ? अब शयन की बात छोड़ दो …. जो साधारण प्रेम होता है उसका वियोग भी आपकी नींद , भोजन , हंसी और व्यर्थ की बातें सब कुछ उड़ा देती है तो ये … Read more