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August 2, 2025 8:58 pm

!! उद्धव प्रसंग !!-{ श्रीराधा कृष्ण का विवाह – जो उद्धव ने देखा }भाग-20 : Niru Ashra

!! उद्धव प्रसंग !!-{ श्रीराधा कृष्ण का विवाह – जो उद्धव ने देखा }भाग-20 : Niru Ashra

!! उद्धव प्रसंग !! { श्रीराधा कृष्ण का विवाह – जो उद्धव ने देखा }भाग-20 तत्संदेशागत स्मृतिः…( श्रीमद्भागवत ) उद्धव का ज्ञानोपदेश सुनकर श्रीराधारानी हँसीं… ऐसा लग रहा था उद्धव को उस समय मानो फूल झर रहे हों । उद्धव ! अपने लिए श्रीराधा के मुखारविन्द से सम्बोधन सुनकर उद्धव को रोमांच हो गया था … Read more

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” – 77 !!-श्रीराधारानी का गाया गीत -“भ्रमर गीत”भाग 1 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” – 77 !!-श्रीराधारानी का गाया गीत -“भ्रमर गीत”भाग 1 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” – 77 !! श्रीराधारानी का गाया गीत -“भ्रमर गीत”भाग 1 जा रे भँवर ! जा ……ना ! मेरे पाँव को मत छू । ओह ! उसी नें भेजा है तुझे…..हाँ मैं सब जानती हूँ …… श्रीराधा रानी उस भँवरे को देखकर बोल उठी थीं । क्या कहाँ तूनें ! मान जाऊँ मैं ? … Read more

!! राधा बाग में – “श्रीहित चौरासी” !!-( सुरत रंग – “लटकत फिरत जुवति रस फूली” ) : Niru Ashra

!! राधा बाग में – “श्रीहित चौरासी” !!-( सुरत रंग – “लटकत फिरत जुवति रस फूली” ) : Niru Ashra

!! राधा बाग में – “श्रीहित चौरासी” !! ( सुरत रंग – “लटकत फिरत जुवति रस फूली” ) गतांक से आगे – उपनिषद कहती है – “वह रस है” – रसो वै सः । फिर आगे कहती है ….उसी “रस”को पाकर वह “रस” आनन्द प्राप्त करता है । रस , रस को पाकर ? जी … Read more

!! उद्धव प्रसंग !!-{ उद्धव का गोपियों को ज्ञानोपदेश }भाग-19 : Niru Ashra

!! उद्धव प्रसंग !!-{ उद्धव का गोपियों को ज्ञानोपदेश }भाग-19 : Niru Ashra

!! उद्धव प्रसंग !! { उद्धव का गोपियों को ज्ञानोपदेश }भाग-19 भवतीनां वियोगो मे न हि सर्वात्मना क्वचित् ।( श्रीमद्भागवत ) उद्धव श्रीराधा और समस्त गोपियों की यह प्रेमदशा देखकर घबड़ा गए । अरे ! उद्धव ! तू भी तो कुछ बोल । केवल इन्हीं को देखे जा रहा है… इन्हीं नारियों के विलाप को … Read more

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 76 !!-आओ, प्रेम की सृष्टि में प्रवेश करें..भाग 3 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 76 !!-आओ, प्रेम की सृष्टि में प्रवेश करें..भाग 3 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 76 !! आओ, प्रेम की सृष्टि में प्रवेश करें..भाग 3 इस स्थिति में प्रेमी को ऐसा लगनें लगता है कि ……मेरे प्रियतम ही सर्वत्र हैं …… आकाश में मेरा प्यारा है ……चन्द्रमा में मेरा प्रिय है …..इन फूलों में वही मुस्कुरा रहा है……फूलों में भँवरे के रूप में मेरा प्रिय ही है…….जल , … Read more

જીવનચરિત્ર કથા : ભાગ 212તત્વજ્ઞાની કવયિત્રી ગીતા સૂર્યવંશી પરીખ (1929-2012) નો આજે જન્મદિવસ : Manoj Acharya

જીવનચરિત્ર કથા : ભાગ 212તત્વજ્ઞાની કવયિત્રી ગીતા સૂર્યવંશી પરીખ (1929-2012) નો આજે જન્મદિવસ : Manoj Acharya

જીવનચરિત્ર કથા : ભાગ 212તત્વજ્ઞાની કવયિત્રી ગીતા સૂર્યવંશી પરીખ (1929-2012) નો આજે જન્મદિવસ છે.ગીતા પરીખનો જન્મ ૧૧ ઑગસ્ટ ૧૯૨૯ ના દિવસે ભાવનગરમાં વિજયાબેન અને પરમાનંદ કાપડિયાના જૈન પરિવારમાં થયો હતો. તેમના પિતા સામાજિક કાર્યકર અને સ્વતંત્રતા સેનાની હતા. તેમણે પોતાનું પ્રાથમિક અને માધ્યમિક શાળા શિક્ષણ મુંબઈની ફેલોશિપ સ્કૂલમાંથી પૂરું કર્યું. તેઓ ૧૯૪૫ માં મેટ્રિકની પરીક્ષામાં … Read more

देवका सी फेस रोड (नमो पथ), देवका, नानी दमन, समंदर किनारे एक अंजान पुरुष मृत अवस्था में पड़ा मिला : Daman Police

देवका सी फेस रोड (नमो पथ), देवका, नानी दमन, समंदर किनारे एक अंजान पुरुष  मृत अवस्था में पड़ा मिला : Daman Police

Date: 10/08/2023दिनांक 09/08/2023 को रात के दौरान देवका बिट पोस्ट केपुलिस स्टाफ को जानकारी मिली थी की मच्छ माता मंदिर केपीछे देवका सी फेस रोड (नमो पथ), देवका, नानी दमन, दमन केसमंदर किनारे एक अंजान पुरुष इसम मृत अवस्था में पड़ा हैजिस कारण वहा जाकर देखा तो एक पुरुष इसम जिसके मस्तकपर चोट लगी थी … Read more

!! राधा बाग में – “श्रीहित चौरासी” !!-( रसात्मकता – “नागरी निकुंज ऐंन” ) : Niru Ashra

!! राधा बाग में – “श्रीहित चौरासी” !!-( रसात्मकता – “नागरी निकुंज ऐंन” ) : Niru Ashra

!! राधा बाग में – “श्रीहित चौरासी” !! ( रसात्मकता – “नागरी निकुंज ऐंन” ) गतांक से आगे – बड़ा प्यारा ध्यान है हम रसोपासकों का । यही ध्यान करना है । सर्वप्रथम बैठ जाना है पवित्र आसन पर । साँस को खींचना है, “रा” कहते हुए खींचना है , फिर साँस को रोकना है … Read more

!! उद्धव प्रसंग !!-{ श्रीराधा के महाभाव की कुछ झाँकियाँ }भाग-18: Niru Ashra

!! उद्धव प्रसंग !!-{ श्रीराधा के महाभाव की कुछ झाँकियाँ }भाग-18: Niru Ashra

!! उद्धव प्रसंग !! { श्रीराधा के महाभाव की कुछ झाँकियाँ }भाग-18 श्रूयतां प्रिय संदेशः…( श्रीमद्भागवत ) उद्धव के मुख से “अहो” शब्द प्रकट हुआ । “अहो” शब्द तब निकलता है… जब परमआनन्द, उल्लास, विस्मय, ये सब एक साथ हृदय में घटित हो रहे हों… तब “अहो” शब्द हृदय से स्फुटित होता है । हे … Read more

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 76 !!-आओ, प्रेम की सृष्टि में प्रवेश करें भाग 2 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 76 !!-आओ, प्रेम की सृष्टि में प्रवेश करें भाग 2 : Niru Ashra

!! “श्रीराधाचरितामृतम्” 76 !! आओ, प्रेम की सृष्टि में प्रवेश करेंभाग 2 प्रेम में हृदय कोमल हो जाता है……..क्यों की प्रेम अपनें आपमें ही कोमल है ……..और फिर उस कोमलता में प्रियतम की आकृति छपनें लग जाती है……..फिर प्रेम प्रगाढ़ होता चला जाता है । वज्रनाभ ! हृदय का पिघलना आवश्यक है…….पाप के कारण ही … Read more